RBI New Rule – अक्टूबर में त्योहारों और वीकेंड के कॉम्बिनेशन के कारण कई शहरों में बैंक लगातार तीन दिनों तक बंद रह सकते हैं, इसलिए ग्राहकों के लिए पहले से तैयारी करना जरूरी है। भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) हर महीने ‘Negotiable Instruments Act, 1881’ के तहत राज्यवार हॉलिडे लिस्ट प्रकाशित करता है, जिसमें स्थानीय पर्व, सार्वजनिक अवकाश, द्वितीय/चतुर्थ शनिवार और रविवार शामिल होते हैं। जब कोई प्रमुख अवकाश शनिवार या सोमवार के साथ पड़ता है, तो ब्रांच सेवाएँ तीन दिन तक उपलब्ध नहीं रहतीं और काउंटर-आधारित काम, जैसे कैश डिपॉज़िट, डिमांड ड्राफ्ट और केवाईसी अपडेट, रुक जाते हैं। ऐसे में एटीएम, यूपीआई, आईएमपीएस और नेटबैंकिंग जैसी डिजिटल सुविधाएँ मदद करती हैं, पर चेक क्लीयरिंग और कुछ ऑफलाइन अनुरोध अगली कार्यदिवस तक टल सकते हैं। अगर आपकी सैलरी, पेंशन या EMI की देय तिथि इस अवधि के बीच है, तो बेहतर है ऑटोपे सेटिंग्स और बैलेंस पहले से जांच लें। यात्रा, फीस जमा, बड़े ट्रांसफर या कैश निकासी जैसी ज़रूरतों के लिए पास की ब्रांच के कामकाजी दिन अवश्य देख लें।

अक्टूबर बैंक हॉलिडे: राज्यवार सूची और वीकेंड कॉम्बिनेशन
RBI की बैंक हॉलिडे सूची एक जैसी नहीं होती; यह राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों और स्थानीय उत्सवों के अनुसार अलग-अलग तय की जाती है। उदाहरण के लिए, कई राज्यों में दुर्गा पूजा/दशहरा पर अतिरिक्त अवकाश होता है, जबकि अन्य जगह वही दिन सामान्य कार्यदिवस हो सकता है। दूसरी ओर, देशभर में दूसरा और चौथा शनिवार तथा हर रविवार निर्धारित छुट्टी है। जब किसी राज्य में शुक्रवार/सोमवार का अवकाश पड़ता है, तो उसके साथ शनिवार-रविवार मिलकर तीन दिन का लम्बा ब्रेक बन जाता है। इससे कैश रीसप्लाइ, पासबुक प्रिंटिंग, चेक जमा/क्लीयरेंस और शाखा-स्तरीय सहायता प्रभावित होती है। इसलिए अपने शहर/राज्य की अद्यतन लिस्ट देखना ज़रूरी है।

RBI के नए निर्देश: ब्रांच, क्लीयरिंग और डिजिटल सेवाएँ
हाल के निर्देशों के अनुसार, ब्रांच-आधारित सेवाओं के बंद रहने पर भी डिजिटल भुगतान इकोसिस्टम ग्राहकों के लिए उपलब्ध रहता है, ताकि आवश्यक लेनदेन रुकें नहीं। UPI और IMPS 24×7 चलते हैं, जबकि NEFT अधिकांश समय उपलब्ध रहता है; किन्तु कुछ तकनीकी अपडेट विंडो में प्रोसेसिंग देर से परिलक्षित हो सकती है। चेक ट्रंकेशन सिस्टम (CTS) की प्रस्तुतियाँ छुट्टियों में स्वीकार नहीं की जातीं, इसलिए जमा किए गए चेक का क्लीयरेंस अगली कार्यदिवस पर जाएगा। RTGS जैसे उच्च-मूल्य ट्रांसफर सामान्यतः कार्यदिवसों में आसान रहते हैं, अतः बड़े भुगतानों को पहले ही शेड्यूल करना समझदारी है। एटीएम/कैश रीसायक्लर मशीनें चालू रहती हैं, लेकिन तीन दिन के ब्रेक में रीलोड स्लॉट सीमित हो सकते हैं।
क्या करें: कैश, चेक, ड्राफ्ट और EMI की तैयारी
पहला, जिन ग्राहकों को बड़े नकद निकासी/जमा करनी है, वे छुट्टी शुरू होने से एक दिन पहले ब्रांच विज़िट कर लें, ताकि कतार और कैश-आउट जोखिम से बचा जा सके। दूसरा, जिनके चेक जमा करने हैं, वे कलेक्शन कट-ऑफ समय से पहले ड्रॉप-बॉक्स में डालें और रसीद/एसएमएस अलर्ट सक्रिय रखें। तीसरा, EMI, SIP, बीमा प्रीमियम और क्रेडिट कार्ड बिल का ऑटोपे चालू करें तथा खाते में पर्याप्त बैलेंस बनाए रखें, ताकि चूक शुल्क न लगे। चौथा, यदि आपको डिमांड ड्राफ्ट, बैंकर्स चेक, फॉरेक्स कार्ड या केवाईसी अपडेट चाहिए, तो स्लॉट अग्रिम बुक कर लें।
महत्वपूर्ण सावधानियाँ: यात्रा, सीमा-लिमिट और ग्राहक सहायता
लंबे वीकेंड में यात्रा करने वालों को एटीएम पर भीड़, कैश रिफिल में देरी और ग्रामीण क्षेत्रों में कैश-आउट जैसी स्थितियों के लिए बैक-अप प्लान रखना चाहिए। डेबिट/क्रेडिट कार्ड की अंतरराष्ट्रीय/ऑनलाइन लिमिट्स पहले से समायोजित कर लें और संदिग्ध गतिविधि पर तुरंत कार्ड ब्लॉक करने के विकल्प जान लें। नए बेनिफिशियरी जोड़ते समय कूल-ऑफ अवधि का ध्यान रखें, क्योंकि कुछ बैंकों में बड़े ट्रांसफर उसी दिन संभव नहीं होते। फ़िशिंग कॉल/एसएमएस से सतर्क रहें; बैंक कभी भी ओटीपी/पिन नहीं पूछते। यदि आपके खाते में सरकारी सब्सिडी, पेंशन या छात्रवृत्ति आती है, तो क्रेडिट अलर्ट ऑन रखें और आवश्यकता पर मिनी-स्टेटमेंट निकालें।
बैंक छुट्टियों में क्यों बंद रहेंगे 3 दिन?
RBI के नए नियम के अनुसार।
बैंक छुट्टियों में क्या बदलाव हुआ है?

अब बैंक 3 दिन तक बंद रहेंगे RBI के नियमों के अनुसार।